विकसित देश के लिए शिक्षा का महत्व

     विकसित देश के लिए शिक्षा का महत्व

हर माता-पिता अपने बच्चे को सफलता की सीढ़ी पर चढ़ते देखना चाहते हैं । यह तभी संभव है जब अच्छी शिक्षा प्राप्त हो। हम सभी अपने बच्चों को बचपन से ही शिक्षा का महत्व के बारे में बताते हैं । एक-एक व्यक्ति को  शिक्षित करने से हमारे समाज के प्रत्येक व्यक्ति शिक्षित होगें। एक अच्छे समाज की परिकल्पना तभी संभव होगा ,जब उन लोगों को शिक्षा का महत्व की जानकारी होगा। विकसित देश के लिए शिक्षा का महत्व
          "शिक्षा सबसे ताकतवर शस्त्र है,जिसे आप संसार परिवर्तन करने के लिए प्रयोग कर सकते हैं।"   
                 जीवन में सफलता प्राप्त करने के लिए शिक्षा अत्यंत ही महत्वपूर्ण है । लड़का और लड़की दोनों के शिक्षा पर ध्यान देना चाहिए। ऐसे लड़कियों की शिक्षा बहुत महत्वपूर्ण है , क्योंकि लड़कियां शादी करने के बाद ससुराल चली जाती हैं , वहां अपने ससुराल में भी शिक्षा का महत्व के बारे में जानकारी देगीं।  
                  शिक्षा का माध्यम से व्यक्ति के व्यक्तित्व में निखार आता है , हर क्षेत्र में शिक्षा जरूरी है । शिक्षित व्यक्ति के ललाट चमकने लगता है, शिक्षा के बिना जीवन अधूरा है।   "जीवन का मूलमंत्र शिक्षा है ।" अरस्तु ने कहा है कि शिक्षा की जड़ें कड़वी होती है , लेकिन उस पर लगे फल मीठे होते हैं ।"
              "क्षणिक सुख के लिए अपना भविष्य बर्बाद न करे।"
 शिक्षा को हम बांट सकते हैं।
         👉  प्राथमिक शिक्षा
         👉  माध्यमिक शिक्षा
         👉  उच्चतर माध्यमिक शिक्षा
         👉  प्रतियोगी शिक्षा
प्राथमिक शिक्षा -: "अंधकार से प्रकाश की ओर ले जाना" बच्चों के बेहतर जीवन के लिए प्राथमिक शिक्षा अति आवश्यक है। इसमें बच्चे पहली कक्षा से आठवीं कक्षा तक की पढ़ाई करते हैं। इसमें बच्चे बेसिक ज्ञान सीखते हैं । प्राथमिक शिक्षा में बच्चे बहुत शरारत करते हैं ।बच्चों को स्कूली ज्ञान, खेल क्रिया विधि,मनोविज्ञान आधारित शिक्षा,प्रयोगात्मक एवं स्वयं करने की विधि से सीखते हैं। जो जीवन में हमेशा काम आता है , अपने जीवन में सफलता की एक कदम बढ़ा देते हैं
 माध्यमिक शिक्षा -: जीवन में सफलता बढ़ाने का दूसरे कदम है माध्यमिक शिक्षा । इस शिक्षा में बच्चे 9 वीं कक्षा से दसवीं कक्षा तक पढ़ते हैं। बच्चों के बेसिक ज्ञान का विस्तार किया जाता है । इसमें बच्चे अपने लक्ष्य बनते हैं या वह यह समझ जाते हैं कि मुझे कौन सा पढ़ाई करना चाहिए ।इसमें बच्चे मेें समझदारी आने लगता है ।
उच्चतर माध्यमिक-:  बच्चे अपना लक्ष्य निर्धारित कर लेते हैं। उसी प्रकार लक्ष्य पर आगे बढ़ते हैं । जीवन में बेहतर भविष्य की कामना करते हैं । जो जीवन में सफलता प्राप्त करते हैं, इसमें पूर्ण रूप से हर समस्या का समाधान निकालने की कोशिश करने लगते हैं।
प्रतियोगी परीक्षा-: आजकल प्रतियोगी संसार में प्रत्येक क्षेत्र में प्रतियोगिता होती है ।जीवन में सफलता प्राप्त करने के लिए यह महत्वपूर्ण है। इसमें प्राथमिक से लेकर उच्चतर माध्यमिक तक के सभी ज्ञान के अलावा , सामान्य ज्ञान ,करंट अफेयर्स आदि की पढ़ाई होता है इस क्षेत्र में सफल व्यक्ति को अच्छा पद प्राप्त होता है ।  इसमें भी कई प्रतियोगी परीक्षा होती है , जिसमें निम्न से उच्च अधिकारी बन सकते हैं।
निष्कर्ष-: विकसित देश के लिए शिक्षा का महत्व अति महत्वपूर्ण है। बच्चे के बेहतर भविष्य के लिए शिक्षा का महत्वपूर्ण योगदान होता हैं बच्चे को यह सिखाना चाहिए कि वह कैसे सोचें। शिक्षा से ही परिवार , समाज, राष्ट्र और देश को विकसित बनाया जा सकता है। देश को विकासशील से विकसित करने में शिक्षा का महत्वपूर्ण स्थान है। " शिक्षा का उद्देश्य किताबी ज्ञान नहीं बल्कि पूर्ण विकास होता है।" शिक्षा से जीवन बेहतर किया जा सकता है यह तभी होगा जब बच्चे शिक्षा के महत्व को जानेंगे इसलिए बचपन से ही बच्चे को शिक्षा के बारे में बताया जाता है।

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